कारो साइडिग में लोडिंग करते समय रोज घंटों बर्बाद होती है ढोरी रेलवे क्रॉसिंग पर
बेरमो सीसीएल बोकारो एवं करगली क्षेत्र के करगली वाशारी के बगल के पीछे परियोजना के कोयले की रेलवे बैंक से ट्रांसपोर्टिंग के लिए बनाया गया रेलवे साइडिंग आम जनता के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है यहां से प्रतिदिन 6 से 7 रेक कोयले निकलता है प्रत्येक रंग का प्रवेश करने में आधा से पुणे घंटे तक का समय लगता है समय की ढोरी स्टाफ क्वार्टर करगली बाजार की ओर से जाने वाली रेलवे क्रॉसिंग का फाटक बंद रहता है इस एसईसीएल बीएडेेके एरिया के उत्तर पूर्वी क्षेत्र में बसे दर्जनों कॉलोनी सहित कार गलित बाजार डोरी स्टाफ क्वार्टर की जनता को परेशान होना पड़ता है कई बार इस शिविर में मरीज भी हंसते हैं जो कि सीसीएल केंद्रीय अस्पताल डोरी तथा बोकारो के विभिन्न अस्पतालों में जाने का यह मुख्य मार्ग है और डोरी डी ए वी वी आर एल डी ए वी भरत सिंह स्कूल और आरडीपीएस कार्मेल स्कूल आदि स्कूलों के लिए मुख्य मार्ग है इस तरह स्कूली बच्चों का भी स्कूल पर छूटता है काल से पूर्व जब स्कूल संचालित है बताया जाता है कि कार गली के कारों रेलवे साइडिंग में इलेक्ट्रिकल कनेक्शन आम लोग हॉल्ट की केबिन तक ही है इस कारण कोयला लोड लेने के लिए आने वाले रंग को अमिलो ओल्ड केबिन के पास रुक गया जाता है फिर उसका इंजन काटकर बैंक के पीछे ले जाता है जहां से रैंक में इंजन को जोड़कर पीछे से पुश क्या जाता है इस क्रम में औसतन आधा घंटा से ज्यादा समय लगता है तब तक के लिए उत्तर रेलवे फाटक यहां बंद रहता है इसके अतिरिक्त रेलवे साइडिंग में रेक लोड करने के क्रम में गिरे हुए कोयले को हटाने में समय लगने के कारण भी कई बार रात को हम लोग केबिन के पास ही रोक दिया जाता है इस पर डोरी का रेलवे फाटक बंद रह जाता है अन्य लोगों ने वक्त रेलवे फाटक बंद रहने की शिकायत कई बार जनप्रतिनिधियों तथा रेलवे विभाग से की है
0 Response to "कारो साइडिग में लोडिंग करते समय रोज घंटों बर्बाद होती है ढोरी रेलवे क्रॉसिंग पर"
एक टिप्पणी भेजें